क्या होता है जब हम गलतियां करते हैं?

क्यों गलतियां जरूरी हैं?

गलतियां करना स्वाभाविक है और हम हमेशा गलतियां कर के ही कुछ सीखते हैं । अगर हम किसी काम में फेल होते हैं तो हम उसमे सबसे बड़ी चीज प्राप्त करते हैं और वो है अनुभव। जब आप व्यवसाय में या कहीं असफलता मिलती है तो हमें अपनी गलतियों से सीख लेनी होती है आपस में बातचीत करनी होती है अगर हम टीम वर्क कर रहें हैं या किसी आर्गेनाईजेशन में काम कर रहे हैं तो हमें मिलकर उसका रास्ता खोजना होता है। इसके साथ ही आपसी सहयोग स्थापित करना होता है चर्चा करनी होती है। 

किसी भी आर्गेनाईजेशन की जीत तब तक नहीं हो सकती जब तक की वो खतरा लेने के भाव से मुक्त नहीं होते। लोग तभी खुद को ताकतवर बना सकते हैं अगर गलतियां करने का डर भीतर से समाप्त ना हो। खुद पे अधिक नियंत्रण और उच्चतम चेतना के स्तर तभी मिलते हैं जब हम गलतियां करते हैं और उनसे सीखते हैं और आपसी संपर्क साधते हैं।

गलतियों से सीखना क्यों जरूरी है?

जब हम वही गलतियां बार बार करते हैं तो कहीं ना कहीं हमें जागरूक होने की जरूरत होती है । उस समय हमें ओर अधिक ईमानदारी भरा संपर्क साधना होता है और हमें नए स्किल ओर जानकारी की जरूरत होती है। हमारी एक गलती हमारे पूरे ग्रुप को संदेश देती है और हमें उसको ठीक करने और आपसी संपर्क को ओर बेहतर बनाने के लिए बहुत ही अच्छे से संपर्क साधने की जरूरत होती है। 

मिलकर सभी के सुझाव ओर उनके साथ बातचीत कर के सभी से उनके फीडबैक लेने को जरूरत जरूरत है। जब सभी ग्रुप के लोगों से उनके नजरिये लिए जा चुके हों तो फिर आप नए विज़न के साथ आगे बढ़ सकते हैं।

जापानी बांस का पेड़ 

जापान में एक खास प्रजाति का बांस का पेड़ पाया जाता है जो कि शुरुआती 4 वर्षों में जमीन के नीचे ही बढ़ता है। जमीन के ऊपर केवल छोटा सा अंकुर ही दिखाई देता 4 वर्षों तक ओर 5 वे साल वो 80 फुट तक बढ़ जाता है।

सिद्धांत आधारित लीडरशिप भी इसी प्रकार से बढ़ती है जबकि बाध्यकारी लीडरशिप बहुत थोड़े से ओर त्वरित परिणाम ही ला पाती है।

  • सिद्धांत आधारित लीडरशिप क्या है?
  • इसे कैसे सीखा जा सकता है?
  • इसके लाभ क्या हैं?

इन सभी सवालों के जवाबों के लिए हमारे win win educational मीटिंग ओर ट्रेनिंग में भाग लेने के लिए www.winwineducation.in website पे जा के पता लगा सकते हैं या हमारी टीम से संपर्क बना सकते हैं।